वक्त को पकड़ो मत वक्त को छोड़के जिओ।
वक्त के साथ बदलके खुदको मोड़के जिओ।
वक्त बदलते ही सब लोग बदल जाया करते
जो लुभाये उसी के संग दिल जोड़के जिओ।
मन को विषैला करती नजदीकियां अक्सर
जरूरत नहीं है तो मन को सिकोड़के जिओ।
किसी भी तरह न निभें रिश्ते अपने लोगों से
छोड़ दो उनको रिश्तों को मत तोड़के जिओ।
सुन्दर प्रस्तुति!
जवाब देंहटाएंबधाई!
मन को विषैला करती नजदीकियां अक्सर
जवाब देंहटाएंजरूरत नहीं है तो मन को सिकोड़के जिओ ..
Sach kaha hai ... man ko mukt rakhna chaahiye ...
बहुत ज्ञानवर्धक बात कही है प्रेम भाई।
जवाब देंहटाएंसुन्दर रचना ।
very nice.
जवाब देंहटाएंBahut sundar ghazal hai
जवाब देंहटाएंवक्त को पकड़ो मत वक्त को छोड़के जिओ।
वक्त के साथ बदलके खुदको मोड़के जिओ।
Matla bahut akarshak hai.