रविवार, 28 फ़रवरी 2010

देखके तुम को माना है मैंने, तुम हो बहुत हँसीन


देख के तुमको माना है मैंने,तुम हो बहुत हँसीन।
घूम के देखी सारी दुनिया, कोई भी तुम सा नहीं। 

झूठ नहीं हम कहते कहते हम दिल से दिल की 
बातें मेरी सब होत सच्ची कर लो मुझपे यकीं।

कितना चाहूँ तुम को मैं कहो कैसे तुम्हें बतलाऊँ
जाने है सारा आसमां और जाने यह सारी जमीं।

तुमने गर ठुकराया तो हो जायेगा जीना मुहाल
सच कहूँ तेरे सिवा मेरा कोई मेरा ठिकाना नहीं।

6 टिप्‍पणियां:

  1. आपको तथा आपके समस्त परिजनों को होली की सतरंगी बधाई

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  2. होली की हार्दिक बधाई अवम शुभकामनायें।

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  3. aap ke blog pe pehli baar aaya hoo , accha laga. aap ki rachnaye bhi pasand aaye. aabhar

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