एक - दूजे के साथ चले हैं हम दोनों।
मस्ती में मस्ती से खिले हैं हम दोनों।
लाख लगा ले दुनिया पहरा फ़िर भी
जब भी चाहा तभी मिले हैं हम दोनों।
रंग गए तन-मन से मिल कर होली में
एक-दूजे को रंग खूब मले हैं हम दोनों।
सफल हुआ है जीवन अपना धरती पर
प्यार से मिल के फूले फले हैं हम दोनों।
काफी दिन हो गए आप मेरे ब्लॉग पर नहीं आए! बहुत ही सरल शब्दों में सुंदर कविता लिखा है आपने!
जवाब देंहटाएंसफल हुआ है जीवन अपना धरती पर
जवाब देंहटाएंप्यार से मिलकर फूले फले हैं हम दोनों।
बढिया है
सफल हुआ है जीवन अपना धरती पर
जवाब देंहटाएंप्यार से मिलकर फूले फले हैं हम दोनों।
दोनों के सुखमय भविष्य की कामना करता हूँ।
इसी तरह अनन्त काल तक फलते फूलते रहें आप दोनो - मेरी शुभकामना।
जवाब देंहटाएंसादर
श्यामल सुमन
09955373288
www.manoramsuman.blogspot.com
shyamalsuman@gmail.com
सफल हुआ है जीवन अपना धरती पर
जवाब देंहटाएंप्यार से मिलकर फूले फले हैं हम दोनों।
वाह,बढिया .
प्रेम जी,
जवाब देंहटाएंआपकी बगिया प्रेम के फूलों से सुवासित रहे और यूँ ही सदा महकती रहे।
सफल हुआ है जीवन अपना धरती पर
प्यार से मिलकर फूले फले हैं हम दोनों।
सच्ची भावना !!
सादर,
मुकेश कुमार तिवारी
waah
जवाब देंहटाएंwaah
anand aaya..........
ham dono hi pyar me hai to duniya kya kar legi ......yahi kahana chahate aap na ....bahut hi sundar kaha hai aapane ....badhaaee
जवाब देंहटाएंरंग गए तन से मन से मिलके होली में
जवाब देंहटाएंरंग एक दूसरे को खूब मले हैं हम दोनों।
बहुत अच्छा दृश्य खींचा है आपने. बेहतरीन
उत्कृष्ट
जवाब देंहटाएं---
1. चाँद, बादल और शाम
2. विज्ञान । HASH OUT SCIENCE
kyonki bandhu ye PREM ,PREM hai PREM
जवाब देंहटाएंjhalli-kalam-se
angrezi-vichar.blogspot.com
jhallevichar.blogspot.com
आप सभी ब्लोगर मित्रों का मेरा हौसला बढाने के लिए दिल से धन्यबाद!!
जवाब देंहटाएंप्रेम जी,
जवाब देंहटाएंआपके प्रेम-स्नेह का कर्जदार हो गया हूँ.
लाख लगाले ये दुनिया पहरा फिर भी
जब भी चाहा तब ही मिले हैं हम दोनों
मुहब्बत बंदिशें कब मानती है
यही सच है ये दुनिया मानती है.
मैंने तंग आकर नया सिस्टम ले लिया है अब आपको शिकायत नहीं होगी.